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स्वामी विवेकानंद को विवेकानंद की उपाधि किसने प्रदान की थी?

 हेलो नमस्कार दोस्तों आशा है आप अच्छे होंगे। और अपने आप का ख्याल रख रहे होंगे।दोस्तों आज का आर्टिकल बहुत ही ज्ञान दायक होने वाला है। दोस्तों जी हां आज हो सकता है आप कुछ बड़ी ही विचित्र नई जानकारी जान जाएं। क्योंकि हमारा विषय ही आज का ऐसा है।

आज हम एक महान व्यक्तित्व के बारे में जानने वाले हैं।खासकर उन व्यक्तित्व की एक नाम के बारे में ही विस्तार से जानने वाले हैं।

 जी हां अपने टाइटल सही पढ़ा होगा। हम आज स्वामी विवेकानंद जी के नाम के बारे में विस्तार से जानने वाले हैं। हो सकता है आप भी कभी सोचते होंगे कि स्वामी विवेकानंद जी का पहले का नाम क्या था और उनका यह नाम विवेकानंद कैसे पड़ा। बहुत लोग होंगे जिसके मन में कंफ्यूजन होंगे। कि आखिर विवेकानंद नाम कैसे पड़ा।
 
ऐसे में हो सकता है आपके मन में भी यह सवाल होता हो। की आखिरकार स्वामी विवेकानंद जी का नाम यह कैसे हुआ। ऐसे में दोस्तों अगर आप भी स्वामी विवेकानंद जी से जुड़ी यह दिलचस्प जानकारी जानना चाहते हैं, तो जरूर इस आर्टिकल को अंत तक पढ़े तभी शायद आप इस विषय को अच्छे से समझ पाएंगे।

स्वामी विवेकानंद को विवेकानंद की उपाधि किसने प्रदान की थी?

स्वामी विवेकानंद जी का नाम विवेकानंद कैसे पढ़ा
स्वामीजी के बारे में जानकारी!

स्वामी विवेकानंद जी एक महान सन्यासी जिसके नाम भारत के बच्चा-बच्चा जानता है। उनके बताए हुए मार्ग भारत के बहुत से युवा फॉलो करते हैं।ऐसे में आपको स्वामी विवेकानंद जी के बारे में जानकारी होना बहुत ही जरूरी है। वैसे तो दोस्तों आपको इंटरनेट में स्वामी विवेकानंद जी से जुड़ी बहुत सी जानकारियां मिल जाएगी। लेकिन इस आर्टिकल को पढ़कर आप संक्षेप में स्वामी विवेकानंद जी से जुड़ी जानकारी को प्राप्त कर पाएंगे।

 इसीलिए हम इस आर्टिकल में सबसे पहले स्वामी विवेकानंद जी के जीवन परिचय आपसे कराने वाले हैं।

स्वामी विवेकानंद कोन थे?


स्वामी विवेकानंद जी का जन्म कोलकाता में 12 जनवरी 1863 को हुआ था।तब उनका नाम था नरेंद्रनाथ दत्ता।उन्हे नरेन कहकर बुलाया जाता था।उनके पिता विश्वनाथ दत्त और माता भुवनेश्वरी देवी थे।

स्वामी विवेकानंद जी एक भारतीय हिंदू दार्शनिक, लेखक,और भारत के महान spritual Leader रामकृष्ण परमहंस जी के प्रमुख शिष्य थे। 
स्वामी विवेकानंद जी पश्चिमी दुनिया में वेदांत और योग की शुरुआत करने वाले एक प्रमुख व्यक्ति माने जाते हैं।और उन्हें हिंदू धर्म को एक प्रमुख विश्व धर्म की बनाने का श्रेय भी दिया जाता है। 

शिकागो में भाषण के बाद स्वामी विवेकानंद जी एक लोकप्रिय व्यक्ति बन गए। जहां उन्होंने अमेरिकियों को हिंदू धर्म से परिचित कराने से पहले "अमेरिका की बहनों और भाइयों" शब्दों के साथ अपना प्रसिद्ध भाषण शुरू किया।
 
उन्होंने न्यूयॉर्क की वेदांत सोसाइटी और सैन फ्रांसिस्को की वेदांत सोसाइटी की स्थापना की थी।

उनके याद में 12 january को National Youth Day की तर पर मनाया जाता है।

स्वामी विवेकानंद जी का नाम विवेकानंद कैसे पढ़ा?


जैसे कि हमने पड़ा की पहले उनका नाम नरेंद्रनाथ दत्त था।लिकिन बाद में उन्होंने नाम परिवर्तन करके स्वामी विवेकानंद रखा था।

दोस्तों ऐसे बहुत को लगता है कि स्वामी विवेकानंद जी अपने नाम स्वामी विवेकानंद रखे थे उनके गुरु राम कृष्ण परमहंस के कहने पर। लेकिन दोस्तों यह सच नहीं है।लोग समझते हैं कि उन्होंने सन्यास के समय ही यह नाम बदल लिया था। लेकिन यह सत्य नहीं है।

 दोस्तों इंटरनेट के बहुत से source की माने तो यह नाम उनको एक राजा से मिली थी। जी हां आपने सही सुना।

असल में स्वामी जी को अमेरिका के शिकागो शहर जाना था। लेकिन ऐसा कहा जाता है की अमेरिका जाने के लिए उनके पास कोई पैसा उतना नहीं था। फिर उनके इस यात्रा का खर्च एक राजा ने उठाया था। उस राजा का नाम था अजीत सिंह। उनको राजपूताना का खेतड़ी नरेश भी कहा जाता है। उन्होंने ही यानी अजीत सिंह ने ही स्वामी जी को विवेकानंद नाम से संबोधित किया था। आप कह सकते कि उन्होंने ही स्वामी जी को विवेकानंद नाम रखने के लिए कहा था।

 तब स्वामी जी ने अपनी नाम विवेकानंद रखकर महाराजा खेत्री की मदद से ही 31 मई 1893 को, चीन-जापान और कनाडा होते हुए अमेरिका की यात्रा पर निकल पड़े थे।

दोस्तों इस आर्टिकल में हमने बहुत ही छोटी लेकिन महत्वपूर्ण जानकारी आप लोगों के साथ साझा की है। वैसे दोस्तों स्वामी विवेकानंद कौन थे वो किस लिए प्रसिद्ध हुए उन्होंने संन्यास कब लिया या कहें उनके जीवन परिचय के बारे में बहुत से आर्टिकल सबको पढ़ने को मिल जाएंगे।
 लेकिन इंटरनेट में यह बहुत ही कम मौजूद है कि आखिर स्वामी विवेकानंद जी को विवेकानंद उपाधि किसने दिया था। इसलिए हमने इस आर्टिकल को लिखने की सोचा। आशा है आप को इस आर्टिकल से कुछ ना कुछ जानकारी जरूर मिला होगा।

स्वामी विवेकानंद जी से जुड़ी हुई कुछ सवाल जवाब


1) स्वामी विवेकानंद जी का जन्म कहां हुआ था?
उत्तर:- स्वामी जी जन्म 12 जनवरी 1863 को हुआ था।

2) स्वामी जी का मृत्य कब हुई?
उत्तर:- 4 July 1902 को Belur Math, Howrah में हुआ।

3) स्वामी जी कोन कोन से किताब लिखे थे?
उत्तर:- वो है
Raja Yoga
Karma Yoga
Bhakti Yoga
Jnana Yoga
My Master
Lectures from Colombo to Almora आदि।

Conclusion


हमने इस आर्टिकल में बहुत ही संक्षेप में जानकारी देने की कोशिश की है। ताकि आपको इस विषय के बारे में आसानी से पता चल सके। हमने स्वामी विवेकानंद जी के बारे में एक चीज आपसे यहां शेयर की है। जी हां हो सकता है आप अब स्वामी जी को विवेकानंद नाम किसने दिया था यह जान गए होंगे।हो सकता है आपको इसके बारे में जान कर अच्छा लगा होगा।

 ऐसे में आपसे यही कहना की अगर आपको ये आर्टिकल थोड़ा सा भी ज्ञानवर्धक लगा हो तो जरूर इसे सोशल मीडिया में शेयर करें।ताकि औरों को भी इसके बारे में पता चल सके।

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तो आज के लिए इतना ही आपसे फिर मुलाकात होगा एक नए ओर knowledgefull पोस्ट के साथ।तब तक के लिए खुश रहिए,मजे में रहिए ओर हां अवश्य Mask पहने ओर अपने हाथ को बार बार sanitize करे।
                        जय हिन्द
                               बंदे मातरम